किसान
जोतते हुए खेत
जब कट या छिल जाता है
मिटटी लेपता है
करता है प्राथमिक उपचार
जोतते हुए खेत
जब कट या छिल जाता है
मिटटी लेपता है
करता है प्राथमिक उपचार
कुम्हार जब गढ़ रहा होता है
चाक पर
वह छिलने या कटने पर
लगाता है मिटटी ही
चाक पर
वह छिलने या कटने पर
लगाता है मिटटी ही
कवि
क्या तुम लीपते हो शब्द
जब स्वयं ही छलनी होते हो
अपने शब्दों से
अपनी कविता से !
क्या तुम लीपते हो शब्द
जब स्वयं ही छलनी होते हो
अपने शब्दों से
अपनी कविता से !
कवि , तुम किसान नहीं हो सकते !
वाह।
जवाब देंहटाएंसच किसान जैसा होना कोई हंसी खेल नहीं
जवाब देंहटाएंबहुत सुन्दर