रविवार, 23 मई 2010

पम्फलेट

मुस्कुराते हैं
अखबारों के पन्नों के बीच
फंसे, गुंथे , लिपटे
पम्फलेट
ख़बरों पर
और उनकी घटती
विश्वसनीयता पर


ख़बरों के कानो में
जाके जोर से चिल्लाते हैं
पूरी रंगीनियत के साथ
कि
ख़बरों से पहले
पढ़े जाने लगे हैं वो...
पम्फलेट

ख़बरों और
अखबारों के लिए
ए़क बड़ी खबर हैं
ये महत्वहीन
पम्फलेट

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