गुरुवार, 18 अगस्त 2022

डी एच लारेंस की कविता ग्रीन का अनुवाद

अमरीकी कवि  डी एच लारेंस को अङ्ग्रेज़ी कविता में "इमेजिस्ट" कवि के तौर पर माना जाता है जब उन्होने छोटी किन्तु विम्ब प्रधान कवितायें लिखी। ऐसी ही एक कविता है "ग्रीन" जो 1914 में इमेजिस्ट कविताओं के एक संकलन में प्रकाशित हुई थी । कुछ लोग इस कविता में हरी आँखों को उनकी प्रेयसी 'फ्रीदा' की आँखें कहते हैं । प्रस्तुत है इस छोटी कविता के अनुवाद की कोशिश । 


हरा

डी. एच. लॉरेंस 

भोर  थी हरे सेब की तरह 
आकाश था हरे अंगूर की तरह धूप में टंगा 
इन दोनों के बीच चाँद लग रहा था मानो हो कोई 
सुनहरी पंखुड़ी

 
उसने अपनी आँखें खोलीं, और 
वे चमक उठीं हरी, उदास उजड़े हुये फूल की तरह 
पहली बार, हाँ, मैंने पहली बार देखा ऐसा । 

अनुवाद : अरुण चन्द्र राय 


Green 

D. H. Lawrence 


The dawn was apple-green 

The sky was green wine help up in the sun, 

The moon was a golden petal between. 


She opened her eyes , and green 

They shone, clear like flowers undone 

For the first time, now for the first time seen. 

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